Gopal Krishna Gokhale (गोपाळ कृष्ण गोखले)

By Mamta Kumari (ममता कुमारी)

Gopal Krishna Gokhale (गोपाळ कृष्ण गोखले)

By Mamta Kumari (ममता कुमारी)

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Specifications

Print Length

160 pages

Language

Hindi

Publisher

Prabhat Prakashan

Publication date

1 January 2010

ISBN

9789381063293

Weight

315 Gram

Description

गोपाल कृष्ण गोखले का जन्म 9 मई, 1866 को रत्‍नागिरि के कोटलुक ग्राम में एक सामान्य परिवार में हुआ| वे एक महान् स्वतंत्रता सेनानी, समाजसेवी, विचारक एवं सुधारक थे| महादेव गोविंद रानाडे के शिष्य गोपाल कृष्ण गोखले को वित्तीय मामलों की अद्वितीय समझ और उस पर अधिकारपूर्वक बहस करने की क्षमता से उन्हें भारत का 'गलेडस्टोन’ कहा जाता है| वे भारतीय राष्‍ट्रीय कांग्रेस में सबसे प्रसिद्ध नरमपंथी नेता थे| चरित्र निर्माण की आवश्यकता से पूर्णत: सहमत होकर उन्होंने 1905 में सर्वेंट‍्स ऑफ इंडिया सोसाइटी की स्थापना की, ताकि नौजवानों को सार्वजनिक जीवन के लिए प्रशिक्षित किया जा सके| उनका मानना था कि वैज्ञानिक और तकनीकी शिक्षा भारत की महत्त्वपूर्ण आवश्यकता है|
देश की पराधीनता गोपाल कृष्ण को कचोटती रहती| राष्‍ट्रभक्‍ति की अजस्र धारा का प्रवाह उनके अंतर्मन में सदैव बहता रहता| इसी कारण वे सच्ची लगन, निष्‍ठा और कर्तव्यपरायणता की त्रिधारा के वशीभूत होकर कार्य करते और देश की पराधीनता से मुक्‍ति के प्रयत्‍न में लगे रहते|
अपने चरित्र की सरलता, बौद्धिक क्षमता और देश के प्रति दीर्घकालीन निस्स्वार्थ सेवा के लिए भारत माँ के सपूत गोपाल कृष्ण गोखले को सदा स्मरण किया जाएगा|


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