₹165.00
MRPGenre
Novels & Short Stories, Anthologies & Collections
Print Length
184 pages
Language
Hindi
Publisher
Rajpal and sons
Publication date
1 January 2015
ISBN
9789350643273
Weight
334 Gram
जयशंकर प्रसाद जहाँ उच्चकोटि के कवि थे, वहीं अच्छे कहानीकार भी थे। उनके पाँच कहानी-संग्रह प्रकाशित हुए जिन्होंने न सिर्फ हिन्दी कथा-साहित्य को समृद्ध किया बल्कि विशिष्ट विधा के प्रवर्तक कथाकार के रूप में उनकी पहचान बनाई। जयशंकर प्रसाद के लेखन में आदर्शवाद और प्राचीन गौरव गाथाओं की झलक मिलती है। उनकी कहानियों में भावना और आदर्श के बीच द्वंद्व का बहुत ही सशक्त चित्रण होता है जो उनकी कहानियों के पात्रों को यादगार बनाता है। ‘मदन मृणालिनी’ का मदन, ‘जहाँआरा’ का औरंगजेब, ‘पाप की पराजय’ का धनश्याम और ‘गुंडा’ का ननकूसिंह अविस्मरणीय पात्र बन गए हैं। इन कहानियों के अतिरिक्त उनकी सबसे प्रसिद्ध कहानी ‘छोटा जादूगर’ सहित बाईस कहानियाँ इस पुस्तक में सम्मिलित हैं।
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